Karwa Chauth Kaise Kare 2022 | करवा चौथ कैसे करें, थाली में क्या-क्या चीजें जरूरी हैं? | Karwa Chauth Puja Vidhi, Karwa Chauth Puja Vidhi and Samagri, Karwa Chauth Samagri | Karwa Chauth Katha | Karwa Chauth 2022 Puja Vidhi | Karwa Chauth Puja Vidhi in Uttar Pradesh | Karva Chauth Pooja
नमस्कार दोस्तों, आज किस आर्टिकल में हम लोग बात करेंगे कि करवा चौथ कैसे मनाया जाता है करवा चौथ में किन-किन चीजों की आवश्यकता होती है तथा करवा चौथ का व्रत करते समय हमें किन किन बातों का ध्यान रखना पड़ता है इन सभी विषयों पर चलिए विस्तार से जानते हैं।
Karwa Chauth 2022: करवा चौथ का पर्व मुख्य रूप से सुहागिन स्त्रियों का त्योहार है। ऐसा माना जाता है कि इस दिन सभी शादीशुदा महिलाएं पति की दीर्घायु और सफलता के लिए पूरे दिन निर्जला व्रत करती हैं। ज्योतिष की मानें तो इस व्रत को करने से दाम्पत्य जीवन भी सुखदायी होता है और आपसी सामंजस्य भी बना रहता है।
Karwa Chauth Kaise Kare
इस दिन मुख्य रूप से चंद्रमा की पूजा की जाती है और इसे अर्घ्य दिया जाता है। ऐसी मान्यता है कि चंद्रमा की पूजा से जीवन में सुख समृद्धि बनी रहती है और भावी जीवन सुखमय होता है।

करवा चौथ एक पारंपरिक हिंदू त्योहार है जो विशेष रूप से भारत के उत्तरी भाग में बहुत खुशी और उत्साह के साथ मनाया जाता है। इस दिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और सुरक्षा के लिए सूर्योदय से लेकर चंद्रोदय तक बिना कुछ खाए-पिए व्रत रखती हैं।
करवा चौथ कैसे करें?
करवा चौथ को लेकर सुहागिन महिलाएं महीनों पहले से तैयारी करती हैं। करवा चौथ पूजा में थाली की सजावट सबसे खास होता है। साथ ही थाली की सजावट बड़े उत्साह के साथ करती हैं। ऐसे में ध्यान रखना चाहिए की थाली में क्या-क्या जरूरी चीजें हैं।
आज करवा चौथ है। आज के दिन महिलाएं पति की लंबी उम्र के लिए पूरा दिन निर्जला रहती है। Karwa Chauth 2022 को लेकर महिलाएं महीनों पहले से तैयारी करती है। करवा चौथ पूजा में थाली सबसे खास होता है और महिलाएं थाली की सजावट भी बड़े उत्साह के साथ करती हैं। ऐसे में ध्यान रखना चाहिए की थाली में क्या रखें और क्या न रखें आइए विस्तार से जानें।
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सुहाग का सामान
Karwa Chauth के दिन सुहागिन महिलाओं को 16 श्रृंगार करना चाहिए। साथ ही पूजा की थाली में भी माता पार्वती को अर्पित करने के लिए श्रृंगार का सामान रखना जरूरी है। इसके बाद यह सामान घर में किसी सुहागिन महिला को दिया जाता है
मिट्टी का करवा
करवा चौथ (Karwa Chauth) के दिन पूजा की थाली में मिट्टी का करवा सबसे जरूरी और शुभ माना जाता है। इसे पूजा की थाली में शामिल करना जरूरी होता है। आजकल बाजार में करवे के भी कई डिजाइन मिलने लगे हैं।
छलनी
Karwa Chauth 2022 की पूजा के बाद चंद्रमा को अर्घ्य दिया जाता है। जिसके बाद छलनी में चंद्रमा और पति का चेहरा देखा जाता है। इसलिए करवा चौथ की थाली में छलनी सबसे जरूर माना जाता है।
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आटे का दीपक
पूजा के लिए आटे के दीपक को सबसे शुभ माना जाता है और करवा चौथ की थाली में आटे का दीपक जरूर रखना चाहिए। दीपक में सरसों के तेल में रुई की बत्ती डाल कर दीपक जलाएं।
कुमकुम
माना जाता है कि पूजा के बाद कुमकुम से मांग भरना चाहिए। जिससे सुहाग की लंबी आयु की कामना पूर्ण होती हैं, इसलिए करवा चौथ की थाली में कुमकुम का खास महत्व है।
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मिठाई और चावल
करवा चौथ की पूजा में मिठाई और चावल अर्पित किया जाता है। इसके साथ ही सफेद दूध से बनी मिठाई के साथ पूजा की थाली में रोली और चावल रखना आवश्यक होता है।
तांबे का लोटा और गिलास
चंद्रमा को अर्घ्य देने के लिए करवा चौथ की थाली में पानी से भरा तांबे का लोटा और एक पानी का गिलास भी जरूरी है। इसी पानी के गिलास से पति अपनी पत्नी को पानी पिलाकर व्रत खोलता है।
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शादीशुदा महिलाएं हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को Karwa Chauth का व्रत रखती है। इस साल करवा चौथ 13 अक्टूबर, गुरुवार को पड़ रही है। करवा चौथ के दिन सुहागिनें अपने पति की लंबी उम्र और अच्छे स्वास्थ्य की कामना के लिए निर्जला उपवास रखती हैं और रात को चांद देखने के बाद ही व्रत खोलती हैं।
हालांकि, इस साल करवा चौथ के व्रत को लेकर बड़ी अफवाह लोगों के बीच में फैल रही है। कुछ ज्योतिषविदों के मुताबिक, इस साल करवा चौथ पर शुक्र ग्रह अस्त रहेगा, इसलिए नव-विवाहित महिलाएं अपना पहला Karwa Chauth 2022 का व्रत नहीं रख सकेंगी। आइए जानते हैं कि इस दावे में कितनी सच्चाई है?
करवा चौथ का व्रत कैसे किया जाता है (Karwa Chauth Vrat Vidhi)
- जो सुहागिन स्त्रियां करवा चौथ का व्रत करती हैं उन्हें इस दिन सूर्योदय से पहले उठना चाहिए।
- यदि आप सरगी का पालन करती हैं तो इसे सूर्योदय से पूर्व ही खाएं।
- वैसे कुछ रिवाजों में सरगी का चलन (सरगी का महत्व) नहीं होता है, ऐसे में महिलाएं करवा चौथ के व्रत के एक रात पहले से ही व्रत का पालन शुरू कर देती हैं और रात्रि 12 बजे के बाद से ही जल और अन्न नहीं लेती हैं।
- सरगी का पालन करने वाली सुहागिन महिलाएं करवा चौथ के दिन सबसे पहले सरगी का सेवन करें, पानी पिएं और भगवान की पूजा करके पूरे दिन के लिए निर्जला व्रत का संकल्प लें।
- निर्जला व्रत में पूरे दिन अन्न और जल ग्रहण न करें और चांद के दर्शन के दर्शन और पूजन के बाद की कुछ खाएं।
- शाम के समय पूजन करते हुए पति की दीर्घायु की कामना करते हुए चन्द्रमा से प्रार्थना करें और व्रत का पारण करें।
Karwa Chauth Related FAQs
पहली बार करवा चौथ का व्रत कैसे करें?
पंडित जगन्नाथ गुरुजी के अनुसार, करवा चौथ के दिन सुहागिन महिलाएं पति की लंबी आयु और स्वास्थ्य के लिए निर्जला व्रत रखती हैं। इस दिन मां पार्वती और भगवान शिव की पूजा की जाती है। इसके साथ ही दिनभर व्रत रखने के बाद शाम को चंद्रमा के दर्शन और अर्घ्य देने के बाद व्रत खोलती है।
करवा चौथ व्रत की पूजा कैसे की जाती है?
करवा चौथ के दिन महिलाएं स्नान आदि करने के बाद व्रत का संकल्प लेती हैं और दिनभर व्रत रखने के बाद शाम को चंद्रमा को अर्ध्य देने के बाद ही व्रत खोलती हैं। आज का दिन हर सुहागिन के लिए काफी खास होता है। यह व्रत कठोर व्रतों में से एक माना जाता है।
करवा चौथ की रात को पति पत्नी क्या करते हैं?
इस दिन पत्नी अपने पति की लंबी आयु के लिए निर्जला व्रत रखती है। आप अपने पार्टनर को इन खास मैसेज से भेजें बधाई आपको लग जाए मेरी उमर, यहीं करवा चौथ के दिन दुआ करती हूं।
करवा चौथ के दिन कैसे तैयार होना चाहिए?
इस दिन विवाहित महिलाएं अपनी पति की लंबी उम्र की कामना करती हैं। विवाहित महिलाएं भगवान शिव, माता पार्वती और कार्तिकेय के साथ-साथ भगवान गणेश की पूजा करती हैं। करवा चौथ का व्रत कठिन होता है और इसे अन्न और जल ग्रहण किए बिना ही सूर्योदय से रात में चन्द्रमा के दर्शन तक किया जाता है।